अर्जुन वाजपेयी 16 वर्ष की उम्र में (मई 2010 में) एवरेस्ट पर चढ़नेवाले सबसे कम उम्र के पर्वतारोही बने थे। अर्जुन हमेशा से एक उम्दा एथलीट एवं एक चैंपियन स्पोर्ट्स पर्सन हैं। उन्होंने अपने स्कूल रेयान इंटरनेशनल स्कूल, नोएडा का कई खेलों; जैसे—रोलर स्केटिंग, ताइक्वांडो, बास्केट बॉल, वॉलीबॉल और फुटबॉल में प्रतिनिधित्व किया और कई इनाम जीते हैं। इतनी कम उम्र के होने के बावजूद वे बड़े-बड़े एडवेंचर्स के सपने देख रहे हैं, जैसे—दोनों ध्रुवों—नॉर्थ और साउथ पोल पर जाना, दुनिया की अन्य 13 चोटियों पर चढ़ना, जो 8,000 मीटर से ज्यादा की ऊँचाई पर हैं तथा उसके बाद दुनिया के सातों महाद्वीपों की सबसे ऊँची चोटियों पर चढ़ना।
अपने पिता की तरह वे भी एक फौजी बनना चाहते हैं। जब वे खेलकूद या पर्वतारोहण नहीं कर रहे होते हैं, तब एडवेंचरर्स और एक्सप्लोरर्स के बारे में कहानियाँ पढ़ना पसंद करते हैं।