अविभाजित भारत में सन 1932 में जनमे मिल्खा सिंह का नाम भारत के प्रतिष्ठित धावकों में सम्मिलित किया जाता है। अपने संपूर्ण कॅरियर के दौरान सफलता प्राप्त करने हेतु उनका मंत्र निरंतर अभ्यास, कड़ी मेहनत, आत्मानुशासन, समर्पण व अपनी योग्यता के अनुसार सबसे बेहतर प्रदर्शन करने की लगन था। हालाँकि उन्होंने साठ के दशक के आरंभिक दौर में ही प्रतियोगितात्मक आयोजनों में भाग लेना छोड़ दिया था, लेकिन उसके बाद भी, उनका समस्त जीवन खेल के प्रति ही समर्पित रहा है। मिल्खा सिंह दिल से सदैव ही एक रूमानी व्यक्ति रहे हैं और अपने इसी व्यक्तित्व की बदौलत आज वे एक आदर्श पति, गौरवशाली पिता और एक प्यारे दादा हैं। फरहान अख्तर द्वारा अभिनीत, ‘भाग, मिल्खा भाग’ उनकी आत्मकथा पर आधारित फिल्म है, जिसमें उनके प्रारंभिक जीवन व कॅरियर को चित्रित किया गया है।