₹250
सोलह बरस के पत्रकारिता कॅरियर और छत्तीस बरस की ज़िंदगी के स़फर में जो रंग देखे, उन्हें बस कह दिया, ताकि यहाँ की बातें यहीं कहता चलूँ और जाते व़क्त दिल पर कोई बोझ न हो।
जो कहा, वो रत्ती भर भी काल्पनिक नहीं है, सब देखा, सुना और महसूस किया और बिना किसी ल़फ़़्फाज़ी के वैसा-का-वैसा कह दिया और यही मेरी किताब की सबसे बड़ी खासियत है।
मेरे लिखे को अगर सत्तर साल का कोई बुज़ुर्ग पढ़े या सत्रह साल का नौजवान, उसे लगेगा कि ये तो उसकी ही बात है, जो वो नहीं कह पा रहा था और मैंने कह दी।
इस किताब में जो रंग हैं, उनमें सबसे गाढ़ा रंग इश़्कका है। इश़्क जिसमें मिलन का निमंत्रण है, मिल जाने का उल्लास है, बिछड़ने का दर्द है, क्रोध है, नाराज़गी है, यादों की टीस है, फिर से मिलने की उम्मीद है और फिर सबकुछ भुलाकर इश़्क को वैराग्य की ओर ले जाने का रास्ता है। ये रंग हर किसी की इश्क़िया शायरी या कविताओं में होते हैं, लेकिन ये औरों से अलग इसलिए हैं, क्योंकि इनमें हर उम्र, हर दौर के व्यक्ति को अपना इश़्क याद आता है—वो भी बहुत सरल और सहज शब्दों में।
ये विविधता भरे रंग ही हैं, जो इस किताब को अलग आयाम देते हैं। गागर में सागर उँड़ेला है, जिसकी हर बूँद हर किसी को भिगो जाती है।
बाज़ार की शर्तें समझता हूँ, लेकिन यकीन दिलाता हूँ कि मेरा लेखन उन
सभी शर्तों पर खरा उतरने की काबिलियत रखता है।
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अनुक्रम | |
भूमिका : कबीरी-कवि — 4 | 55. एक शाम फिर से उधार दे दो — 76 |
लेखक की क़लम से — 7 | 56. क़रार — 77 |
1. सुनो — 15 | 57. कल — 78 |
2. शैतान — 16 | 58. खैर, तुम अपनी कहो — 79 |
3. वो — 17 | 59. टीस — 80 |
4. लेकिन — 19 | 60. मुहबत — 81 |
5. दीवाने — 20 | 61. पा — 82 |
6. देखो तो — 21 | 62. सैराब — 83 |
7. बस — 22 | 63. पहाड़ी गुलाब — 85 |
8. मुश्किल — 23 | 64. हार-जीत — 87 |
9. यूँ ही — 24 | 65. नम मौसम — 88 |
10. तुम जो आए तो — 25 | 66. तलाश — 89 |
11. किसलिए — 26 | 67. आवारगी — 90 |
12. ख़याल — 27 | 68. इश्क — 91 |
13. क्या — 28 | 69. कब — 92 |
14. ख़ता — 29 | 70. कैसा गिला — 93 |
15. खामखाँ — 30 | 71. सो जाती हो — 94 |
16. ख़ैर — 31 | 72. आओ तो सही — 96 |
17. ख़्वाब वाली लड़की — 33 | 73. इल्तिज़ा — 97 |
18. गुलज़ार — 34 | 74. गीत — 99 |
19. क़यामत — 35 | 75. अलबेली — 100 |
20. अना — 36 | 76. किताबें — 101 |
21. अधूरी नज़्म — 37 | 77. अजीब श़स — 102 |
22. अच्छा आदमी — 38 | 78. मन — 103 |
23. दायरे — 39 | 79. तुम्हारी गली — 105 |
24. दुआ — 40 | 80. सरमाया — 107 |
25. जुगनू — 41 | 81. मिट्टी — 109 |
26. असर — 42 | 82. जीवन — 110 |
27. ख़्वाब था शायद — 43 | 83. परछाईं — 112 |
28. कौन हैं वो — 44 | 84. बंजर रिश्ते — 113 |
29. उमस — 45 | 85. ओ बाबा — 115 |
30. चले गए — 46 | 86. गुलाब — 116 |
31. चाहत — 47 | 87. महबूब — 117 |
32. ज़िंदगी — 48 | 88. खुशबू — 118 |
33. वो लम्हे — 49 | 89. अंजाम — 119 |
34. वहम — 50 | 90. हो कि नहीं — 120 |
35. यार मेरे — 51 | 91. खोटा सिका — 121 |
36. मोक्ष — 52 | 92. एक आस — 122 |
37. मेरे जैसे हो तुम — 53 | 93. शायद — 123 |
38. तुम्हारे लिए — 55 | 94. दाँव — 124 |
39. तुमसे या — 56 | 95. फ़ासले — 125 |
40. सि़फर — 57 | 96. शिकायत — 126 |
41. तुम रूठे तो — 59 | 97. जीने दो — 127 |
42. भुला न सकोगे — 61 | 98. जज़्ब — 128 |
43. याद रखना — 62 | 99. छोड़ दिया — 129 |
44. बस यूँ ही — 63 | 100. कुमकुम — 130 |
45. फिर मिलूँगा — 64 | 101. अलविदा — 131 |
46. आना कभी — 66 | 102. अधूरी क़सम — 132 |
47. यहाँ की बात — 67 | 103. मज़री — 133 |
48. यूँ ही एक रोज़ — 68 | 104. शुक्रिया — 134 |
49. हार — 69 | 105. उम्र — 135 |
50. वो रात — 70 | 106. तुम्हारी दुनिया — 137 |
51. टुकड़े — 72 | 107. या बताएँ — 139 |
52. ज़रा सा — 73 | 108. एहसास — 141 |
53. इश्क प्रीमियर लीग — 74 | 109. धनक — 142 |
54. उदास सर्दियाँ — 75 | 110. पुकार — 143 |
पंकज शर्मा
जन्म : 09 मई, 1979, बिसौली, बदायूँ (उ.प्र.)।
शिक्षा : एम.ए. अंग्रेज़ी, पत्रकारिता।
कृतित्व : उन्नीस बरसों से इलेक्ट्रॉनिक मीडिया में कार्यरत, दूरदर्शन के सुबह-सवेरे में काम किया, कई डॉक्यूमेंटरीज लिखीं, दो साल इंडिया टी.वी. में काम किया। अब 11 साल से ज़्यादा आजतक न्यूज चैनल में सीनियर प्रोड्यूसर के पद पर कार्यरत, विशेष पहचान आजतक के ‘सो सॉरी’ कार्यक्रम को लिखने और उसको आवाज़ देने से मिली।
‘बदायूँ श्री सम्मान’ और ‘आदि संवाददाता सम्मान’ मिल चुका है; रचनाएँ प्रकाशित होती रहती हैं।
‘चाँद तुम गवाह रहना’ प्रकाशित। दो और किताबें, जिनमें कहानियाँ हैं और एक उपन्यास है, प्रकाशन के लिए तैयार; तीसरी भी आधी से ज्यादा लिखी जा चुकी है, जिसमें एक सदी के इतिहास को समेटा है।
संपर्क : एम-64 (ग्राउंड फ्लोर), सेक्टर-12, नोएडा-201301 (उ.प्र.)
दूरभाष : 9871888746
इ-मेल : pankajdwijendra@gmail.com