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देश की आजादी में पत्र-पत्रिकाओं ने भी महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाई है। उस समय के आंदोलनों के दस्तावेजीकरण का काम इन पत्र-पत्रिकाओं ने बखूबी किया। जाने-अनजाने एक तरह से ये पत्रिकाएँ ‘इतिहास’ लेखन कर रही थीं। इन्हीं पत्रिकाओं में एक है बिहार से प्रकाशित साप्ताहिक—‘महावीर’। इस पत्रिका के बारे में जो जानकारी मिलती है, वह पर्याप्त नहीं, आधी-अधूरी है। लेकिन इस एक अंक में जो जानकारी मिलती है, वह दुर्लभ है। इस पत्रिका के बारे में पत्रकारिता के इतिहास की पुस्तकें भी सर्वथा मौन हैं।
लघु पत्रिकाओं के साथ यह दिक्कत तब भी थी, आज भी है। साधनों का अभाव और समय पर लेखकों का पर्याप्त और अपेक्षित सहयोग नहीं मिल पाने के बावजूद जो अंक निकला, वह कम महत्त्वपूर्ण नहीं है। दुर्भाग्य से ‘महावीर’ का यह ‘सत्याग्रह’ विशेषांक ही उपलब्ध है।
बिहार और झारखंड में स्वाधीनता आंदोलन का प्रामाणिक दस्तावेज है यह संकलन।
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अनुक्रम
साप्ताहिक ‘महावीर’ का सत्याग्रह अंक —Pgs. 5
1. भारतीय नेताओं की दिव्य-संदेश-मालिका —Pgs. 15
2. महावीर —Pgs. 20
3. कष्ट-सहन का नियम —Pgs. 26
4. अहिंसा —Pgs. 29
5. सत्य और सत्याग्रह —Pgs. 31
6. सत्याग्रह का खतरा —Pgs. 34
7. भारतीय सत्याग्रह —Pgs. 35
8. राज-बंदी-जीवन —Pgs. 55
9. सत्याग्रह की मीमांसा —Pgs. 71
10. सत्याग्रही सेना की कमजोरियाँ और उनके निवारण के उपाय —Pgs. 78
11. सत्याग्रह और महिलाएँ —Pgs. 99
12. बिहार में सत्याग्रह —Pgs. 106
13. चंपारन में सत्याग्रह —Pgs. 116
14. बिहार में चौकीदारी करबंदी —Pgs. 120
15. बिहार के शहीद —Pgs. 126
16. बेगूसराय हत्याकांड —Pgs. 132
17. सारन में सत्याग्रह —Pgs. 134
18. मुजफ्फरपुर में सत्याग्रह —Pgs. 144
19. दरभंगा में सत्याग्रह —Pgs. 153
20. शाहाबाद —Pgs. 159
21. भागलपुर में सत्याग्रह —Pgs. 164
22. प्रांत के कुल जेलयात्री —Pgs. 168
23. बीहपुर सत्याग्रह —Pgs. 170
24. मुँगेर में सत्याग्रह —Pgs. 176
25. पटना नगर —Pgs. 180
26. पटना जिला —Pgs. 186
27. गया में सत्याग्रह —Pgs. 191
28. पूर्णिया में सत्याग्रह —Pgs. 195
29. राँची में सत्याग्रह —Pgs. 200
30. तामिल नाड में सत्याग्रह —Pgs. 204
31. हृदय के टुकड़े —Pgs. 207
32. जागरण —Pgs. 208
33. सत्याग्रही वीर —Pgs. 210
34. ये छत्तीस करोड़ बनेंगे पुनः अमर अवतार —Pgs. 211
35. सांत्वना —Pgs. 212
36. युवक-धर्म —Pgs. 213
37. बिहार के वीर बाँकुड़े —Pgs. 215
38. मुँगेर —Pgs. 222
39. जेल से विदाई —Pgs. 230
40. सैनिक गान —Pgs. 232
41. सारन जिला के राजबंदी —Pgs. 233
42. भागलपुर —Pgs. 239
संजय कृष्ण
जन्म : जमानियाँ स्टेशन, गाजीपुर, उत्तर प्रदेश में।
शिक्षा : स्नातकोत्तर हिंदी, प्राचीन इतिहास एवं एम.जे.एम.सी.।
गोपाल राम गहमरी और हिंदी पत्रकारिता पर शोध-प्रबंध। ‘जमदग्नि वीथिका’ नामक पत्रिका का संपादन व प्रकाशन।
कृतित्व : ‘होती बस आँखें ही आँखें’ में नागार्जुन पर लंबा लेख प्रकाशित। ‘हिंदी पत्रकारिता : विविध आयाम’ पुस्तक में हिंदी पत्रकारिता पर शोधपूर्ण लेख संकलित। देश के विभिन्न पत्र-पत्रिकाओं में सौ से अधिक लेख-रिपोर्ट, समीक्षा आदि प्रकाशित। ‘झारखंड केपर्व-त्योहार, मेल और पर्यटन स्थल’, ‘झारखंड के मेले’, ‘गोपाल राम गहमरी की प्रसिद्ध जासूसी कहानियाँ’ पुस्तकें प्रकाशित। संजीव चट्टोपाध्याय के ‘पालामौ’ पर हिंदी में संपादन। साहित्य अकादमी के लिए गोपाल राम गहमरी पर मोनोग्राफ लेखन।
पुरस्कार : केंद्रीय पर्यटन मंत्रालय का प्रथम राहुल सांकृत्यायन पुरस्कार।
संपर्क : न्यू तपोवन गली, नीचे मोहल्ला, कोकर, राँची-834001
मोबाइल : 09835710937