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Thali Bhar Chand   

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Author Suryabala
Features
  • ISBN : 9788177213928
  • Language : Hindi
  • Publisher : Prabhat Prakashan
  • Edition : 1st
  • ...more

More Information

  • Suryabala
  • 9788177213928
  • Hindi
  • Prabhat Prakashan
  • 1st
  • 2020
  • 176
  • Hard Cover

Description

कैसे जीते हैं लोग यहाँ? उफ, कब उद्धार होगा सभ्यता से कटे, ऊँघते कस्बे के इन लोगों का? सबसे बड़ी बात, उन्हें खुद नहीं मालूम कि वे कितने गए-गुजरे, अहमक किस्म के लोग हैं और दुनिया कितनी-कितनी आगे बढ़ गई है! यहाँ औरतें मर्तबानों को धूप-छाँह में सरकाती, पापड़ों को उलटती-पलटती और बेटियों की कसी-कसी चोटियाँ गूँथती इतनी-इतनी दुर्लभ जिंदगी काट जाती हैं। उफ, अपना तो सोचकर भी दम घुटता है। इतनी-इतनी नेमत से मिली जिंदगी सिर्फ कुछ अदद मर्तबानों में भरकर सील कर दी जाए, तेल चुपड़ी चोटियों के साथ गूँथ दी जाए! अपनी बिट्टा रानी भी बचपन में एक-दो बार ठुनकी तो थी लहरियादार लंबी चोटियों के लिए। तब समझाया—बेटे! तेरी मम्मी सिर्फ एक चूल्हे-चौकेवाली औरत तो है नहीं न; उसे कितनी गोष्‍ठियों, सेमिनारों, संस्थाओं की धुरी सँभालनी पड़ती है। वह सिर्फ तेरी चोटियाँ गूँथते तो जिंदगी नहीं बिता सकती न! बिट्टा मान गई। बाल कटने के बाद लच्छे-लच्छे देख हिलक के रोई जरूर तो क्या, एक ‘फाइव स्टार’ थमा दिया, फुसल गई।
—इसी पुस्तक से
अत्यंत सरस, मार्मिक एवं जीवंत कहानियाँ, जो पाठकों को स्पंदित करेंगी और उनकी संवेदना को छू जाएँगी।

The Author

Suryabala

जन्म : 25 अक्‍तूबर, 1943 को वाराणसी (उ.प्र.) में।
शिक्षा : एम.ए., पी-एच.डी. (रीति साहित्य—काशी हिंदू विश्‍वविद्यालय)।
कृतित्व : अब तक पाँच उपन्यास, ग्यारह कहानी-संग्रह तथा तीन व्यंग्य-संग्रह प्रकाशित।
टी.वी. धारावाहिकों में ‘पलाश के फूल’, ‘न किन्नी, न’, ‘सौदागर दुआओं के’, ‘एक इंद्रधनुष...’, ‘सबको पता है’, ‘रेस’ तथा ‘निर्वासित’ आदि। अनेक राष्‍ट्रीय एवं अंतरराष्‍ट्रीय संगोष्‍ठियों में सहभागिता। अनेक कहानियाँ एवं उपन्यास विभिन्न शिक्षण संस्थानों के पाठ्यक्रम में सम्मिलित। कोलंबिया विश्‍वविद्यालय (न्यूयॉर्क), वेस्टइंडीज विश्‍वविद्यालय (त्रिनिदाद) तथा नेहरू सेंटर (लंदन) में कहानी एवं व्यंग्य रचनाओं का पाठ।
सम्मान-पुरस्कार : साहित्य में विशिष्‍ट योगदान के लिए अनेक संस्थानों द्वारा सम्मानित एवं पुरस्कृत।
प्रसार भारती की इंडियन क्लासिक श्रृंखला (दूरदर्शन) में ‘सजायाफ्ता’ कहानी चयनित एवं वर्ष की सर्वश्रेष्‍ठ फिल्म के रूप में पुरस्कृत।
इ-मेल : suryabala.lal@gmail.com

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